नई दिल्ली (एजेंसी)। पिछले साल प्रारंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) बाजार गुलजार रहा। तरलता की बेहतर स्थिति तथा निवेशकों की उत्साहवर्धक प्रतिक्रिया के चलते कंपनियों ने साल 2020 में आईपीओ के जरिए करोड़ों रुपये जुटाए हैं। इस साल भी आईपीओ बाजार से निवेशकों को बंपर मुनाफा हुआ है। आईपीओ बाजार में हलचल अब भी जारी है। जल्द बजट विमानन कंपनी गो एयरलाइंस भी 3,600 करोड़ रुपये का आईपीओ पेश करेगी। इसके लिए कंपनी को बाजार नियामक सेबी की मंजूरी मिल गई है।
ड्रॉफ्ट रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस (डीआरएचपी) के अनुसार, शेयरों की बिक्री के माध्यम से कंपनी 3,600 करोड़ रुपये तक जुटाएगी। इसके साथ ही कंपनी की प्री-आईपीओ प्लेसमेंट के जरिए 1,500 करोड़ रुपये तक जुटाने की योजना है। सेबी के मुताबिक, जिस कंपनी ने मई में आईपीओ के लिए प्रारंभिक दस्तावेज दाखिल किए थे। डीआरएचपी के अनुसार, आईपीओ से अर्जित आय से एयरलाइन 2,015.81 करोड़ रुपये से अधिक का उपयोग पूर्व-भुगतान या निर्धारित पुनर्भुगतान के लिए करेगी। 279.26 करोड़ रुपये की राशि ‘लेटर ऑफ क्रेडिट की रिप्लेसमेंट’ के लिए है। कंपनी ने इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन को ईंधन के लिए 254.93 करोड़ रुपये का बकाया चुकाने की योजना भी बनाई है।
मालूम हो कि वाडिया समूह के पास कंपनी में 73.33 फीसदी हिस्सेदारी है, जबकि शेष शेयरधारिता अन्य संस्थाओं के पास है, जिसमें बेमैनको इन्वेस्टमेंट्स लिमिटेड भी शामिल है। इसकी कंपनी में 21.05 फीसदी हिस्सेदारी है। सी विंड इन्वेस्टमेंट एंड ट्रेडिंग कंपनी लिमिटेड की हिस्सेदारी 3.76 फीसदी है। हीरा होल्डिंग्स एंड लीजिंग प्राइवेट लिमिटेड, निधिवन इंवेस्टमेंट्स एंड ट्रेडिंग कंपनी प्राइवेट लिमिटेड और सहारा इंवेस्टमेंट्स प्राइवेट लिमिटेड की एयरलाइन में 0.62 फीसदी हिस्सेदारी है। .
जानिए क्या है आईपीओ
जब भी कोई कंपनी या सरकार पहली बार आम लोगों के सामने कुछ शेयर बेचने का प्रस्ताव रखती है तो इस प्रक्रिया को प्रारंभिक सार्वजनिक पेशकश (आईपीओ) कहा जाता है। आईपीओ में पैसा लगाकर निवेशक अच्छे पैसे कमा सकते हैं।