नईदिल्ली (एजेंसी)। राष्ट्रपति के अभिभाषण पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राज्यसभा में कहा कि सदन में किसान आंदोलन की भरपूर चर्चा हुई है। ज्यादा से ज्यादा समय जो बात बताई गई वो आंदोलन के संबंध में बताई गई। किस बात को लेकर आंदोलन है उस पर सब मौन रहे। जो मूलभूत बात है, अच्छा होता कि उस पर भी चर्चा होती। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हमें एक बार देखना चाहिए कि कृषि परिवर्तन से बदलाव होता है कि नहीं। कोई कमी हो तो उसे ठीक करेंगे, कोई ढिलाई हो तो उसे कसेंगे। मैं विश्वास दिलाता हूं कि मंडियां और अधिक आधुनिक बनेंगी। एमएसपी था। एमएसपी है। भविष्य में भी एमएसपी बना रहेगा।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 2014 के बाद हमने कुछ परिवर्तन किया, हमने फसल बीमा योजना का दायरा बढ़ा दिया ताकि किसान, छोटा किसान भी उसका फायदा ले सके। पहली बार हमने किसान रेल की कल्पना की। छोटा किसान जिसका सामान बिकता नहीं था, आज गांव का छोटा किसान किसान रेल के माध्यम से मुंबई के बाजार में अपना सामान बेचने लगा, इससे छोटे किसान को फायदा हो रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि फसल बीमा योजना के तहत छोटे और बड़े किसानों को 90,000 करोड़ रुपये उनके खाते में दिए गए हैं। हम फैसला किया है कि हम हर किसान और मछुआरे को किसान क्रेडिट कार्ड देंगे। अब तक 1.75 करोड़ किसानों को क्रेडिट कार्ड मिल गया है।
पीएम किसान सम्मान योजना से किसानों को मिला लाभ
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि पीएम किसान सम्मान निधि योजना से सीधे किसान के खाते में मदद पहुंच रही है। 10 करोड़ ऐसे किसान परिवार हैं जिनको इसका लाभ मिल गया। अब तक 1 लाख 15 हजार करोड़ रुपये उनके खाते में भेजे गये हैं। इसमें अधिकतर छोटे किसान हैं। अगर बंगाल में राजनीति आड़े नहीं आती, तो ये आंकड़ा उससे भी ज्यादा होता। प्रधानमंत्री मोदी ने यह भी कहा कि भारत का विदेशी मुद्रा भंडार रिकॉर्ड स्तर पर है। भारत की कृषि उपज एक रिकॉर्ड ऊंचाई पर है। हम इंटरनेट उपयोगकर्ताओं के मामले में दूसरे स्थान पर हैं और हर महीने, हम यूपीआई के माध्यम से 4 लाख करोड़ रुपये का लेनदेन करते हैं। अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में भारत शीर्ष पांच देशों में से एक बन गया है।
पूरी दुनिया बड़े संकट से जूझ रही है
कोरोना की चर्चा करते हुए कहा कि पूरी दुनिया एक बड़े संकट से जूझ रही है। पीएम मोदी ने कहा कि कोरोना संकट आया, तो भारत के लिए दुनिया चिंतित थी। अगर भारत खुद को नहीं संभाल पाया तो दुनिया के लिए संकट होगा। भारत ने अपने देश के नागरिकों की रक्षा करने के लिए एक अज्ञात दुश्मन से जंग लड़ी। लेकिन आज दुनिया इस बात पर गर्व कर रही है कि भारत ने ये लड़ाई जीती है। राज्यसभा में पीएम ने कहा कि शायद ही किसी ने सोचा होगा कि मानव जाति को ऐसे कठिन दौर से गुजरना होगा, अनेक चुनौतियों के बीच राष्ट्रपति जी का इस दशक का पहला भाषण हुआ। जब पूरे विश्व पटल की तरफ देखते हैं, भारत के युवा मन को देखते हैं तो ऐसा लगता है कि आज भारत सच्चे में एक अवसरों की भूमि है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत ने महामारी के दौरान वैश्विक संबंधों में एक स्थिति और छवि को मजबूत किया है।